महिला की हत्या के बाद ,पति व सास बीमार बताकर कर रहे थे अंतिम संस्कार, पुलिस ने पकड़ कर दोनों को भेजा जेल

दुर्ग ।मचांदूर चौकी के ग्राम खोपली में पति और सास ने मिलकर महिला को जिंदा फांसी में लटका कर हत्या की। आरोपी पति पत्नी के मोबाइल में बात करने को लेकर नाराज रहता था एवं आए दिन मारपीट किया करता था। घटना के दिन 26 जुलाई की रात को भी पत्नी की पिटाई की थी । बेसुध हो जाने पर देर रात पति एवं सास ने मिलकर महिला को फांसी के फंदे पर लटका दिया था।  मौत हो जाने पर दूसरे दिन सुबह महिला के अंतिम संस्कार की तैयारी कर रहे थे । इस दौरान लेने पहुंचे भाई ने पुलिस को सूचना दी पुलिस ने तत्काल पहुंच कर अवलोकन के पश्चात संदेह होने पर आरोपी पति और सास को गिरफ्तार किया।
घटना के संबंध में  अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक लखन पटले ने  बताया कि हत्या से कुछ घंटे पूर्व 26 जुलाई की रात को मृतिका ने अपने मायके वालों को फोन पर रोते हुए कहा था कि मुझे यहां से ले जाओ वरना मेरे पति और सास दोनों मुझे मार डालेंगे । मृतिका लोकेश्वरी साहू से 8 वर्ष पूर्व आरोपी खुमान साहू से शादी हुई थी। दोनों की दो पुत्री हैं मायके वालों के अनुसार इससे पहले भी कई बार खुमान साहू लोकेश्वरी के साथ मारपीट कर चुका है की है। पत्नी की हत्या को बीमारी से मृत्यु बताकर अंतिम संस्कार की कर ली थी तैयारी, मृतिका के भाई की सूचना पर तत्काल पुलिस ने पहुंचकर कार्यवाही कर किया हत्या के प्रकरण का खुलासा किया पुलिस ने 302 201 भादवि की धारा के तहत मां बेटे के खिलाफ अपराध पंजीबद्ध कर दोनों ही को गिरफ्तार कर लिया है ।
थाना उतई के चौकी मचांदुर के ग्राम खोपली में 27 जुलाई को प्रातः सूचना मिली की ग्राम खोपली में रहने वाली लोकेश्वरी साहू नामक महिला की संदिग्ध परिस्थितियों में मौत हो गई है और उसके परिजन बिना पुलिस को बताए अंतिम संस्कार करने की तैयारी में हैं। इस पर तत्काल चौकी प्रभारी उपनिरीक्षक श्याम सिंह नेताम व थाना प्रभारी उतई उप निरीक्षक सतीश पुरिया पुलिस टीम के साथ ग्राम खोपली पहुंचे तथा मृतिका के शव का अवलोकन करने पर मृतिका के गले पर निशान दिखने पर मृतका की मृत्यु के कारणों को संदेहजनक पाए जाने पर तत्काल मृतिका के मायके पक्ष के परिजनों एवं पति खुमान साहू एवं सास रोहिणी साहू से गहन पूछताछ की गई. घटना की सूचनाप्रदाता मृतिका के भाई योगेश साहू एवं उसकी बहनों ने पूछताछ पर बताया कि एक दिन पूर्व 26 जुलाई को मृतिका और उसके पति के बीच बेहद झगड़ा हुआ था और उसके पति और सास के द्वारा मृतिका को बेहद मारा पीटा गया था यह बात मृतका ने स्वयं फोन पर रोते हुए अपनी बहन को बताई थी। आरोपी पति और सास से गहन पूछताछ करने पर उनके द्वारा मृतिका के साथ मारपीट की बात कबूली गई उन्होंने बताया कि मृतिका के किसी अन्य व्यक्ति से हमेशा फोन पर बात करने से क्षुब्ध होकर अक्सर मृतिका और उसके पति के बीच लड़ाई हुआ करती थी और 26 जुलाई को बात बढ़ गई शाम लगभग 8 बजे आरोपी खुमान साहू और उसकी मां रोहिणी साहू ने मृतिका को हाथ मुक्के चप्पल से मारा और जिस पर वह थोड़ी बेसुध सी हो गई तो घर के ही कमरे में लगे पंखे पर फांसी का फंदा बनाकर आरोपी खुमान साहू और उसकी मां ने  लोकेश्वरी साहू को उठाकर  जीवित उस फंदे में लटका कर फांसी पर झूला दिया। जिससे मृतिका की मृत्यु हो गई।
फांसी में प्रयुक्त किए गए फंदे को काटने में प्रयोग किये गए हंसिए और फांसी लगाने में प्रयोग किए गए फंदे दोनों को ही आरोपी के द्वारा छुपाने और नष्ट करने का प्रयास किया गया था जिसकी सघन पूछताछ पर आरोपी ने बताया कि अपनी पत्नी की हत्या करने के उपरांत वह डर गया था और इसके लिए उसने गांव के ही अपने परिचित पुरेंद्र वर्मा को फोन कर झूठ बताया कि मेरी पत्नी आत्महत्या कर ली है आज ही उससे मेरा झगड़ा हुआ था और वह अपने परिवार वालो को हमारे झगड़े के बारे में बताई है मैं बिना वजह अपनी पत्नी की हत्या में फस जाऊंगा जबकि मेरी पत्नी आत्महत्या की है। इस पर पुरेंद्र वर्मा और नवीन चंद्राकर खुमान साहू के घर पहुंचे और खुमान वहां से उनकी गाड़ी में बैठकर फंदे को काटने में प्रयुक्त हँसिये को नाली में और फंदे के लिए प्रयुक्त टॉवल को  गांव से कुछ दूर ले जाकर जला दिया।
पुलिस ने मृतिका के भाई योगेश साहू की सूचना पर तत्काल मर्ग कायम कर मौके पर ही मृत्यु के कारणों की जांच शुरू कर दी तथा मृतिका के परिजनों के लिए गए कथन और मृतिका के पति और उसकी सास के स्वीकारोक्ति के उपरांत उनसे हत्या में प्रयुक्त फंदे के जले अवशेष और फंदा काटने में प्रयुक्त हसिया बरामद होने पर तत्काल प्रकरण हत्या का पाते हुए भारतीय दंड विधान 302, 201 की धारा के तहत अपराध पंजीबद्ध कर लिया गया।
मृतिका के पति खुमान साहू और उसकी सास रोहिणी साहू को गिरफ्तार किया और न्यायिक रिमांड में भेजा गया। प्रकरण में घटना का साक्ष्य छुपाने में सहयोग करने के कारण दो अन्य आरोपी पुरेंद्र वर्मा एवं नवीन चंद्राकर को पुलिस द्वारा हिरासत में लिया गया तथा घटना में उनकी संलिप्तता और मदद के कारणों के संबंध में पूछताछ की जा रही है। प्रयुक्त वाहन को जप्त किया है।

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