0 मृत्युंजय चतुर्वेदी द्वारा
मनेद्रगढ़। आज अखिल भारतीय क्षत्रिय समाज महासभा मनेंद्रगढ़ एमसीबी के सभी आदरणीय क्षत्रिय समाज के सदस्य की गरिमामामई उपस्थिति में पूर्व निर्धारित रुपरेखा अनुसार विजय नर्सरी इंग्लिश मीडियम हायर सेकंडरी स्कूल मनेंद्रगढ़ में आज नवीन कार्यकारणी का गठन नियमानुसार समस्त उपस्थित सदस्यों के विचार विमर्श उपरांत निर्विरोध पदाधिकारियों को निर्वाचित किया गया। जिसमें संरक्षक श्रीमती इंदिरा सिंह सेंगर जी,श्री जानकी शरण सिंह सेंगर,श्री मिथलस्वेर सिंह,श्री नारायण सिंह जी वही अध्यक्ष पद का दायित्व श्री संजय सिंह सेंगर जी को दिया गया। उपाध्यक्ष पद का दायित्व श्री बेनीबहादुर सिंह, श्री दुर्गविजय सिंह,श्री संजय सिंह जी को एवं सचिव श्री आशीष कुमार सिंह जी को बनाया गया, सहसचिव श्री सूरज भान सिंह गहरवार ,कोषाध्यक्ष श्री अशोक कुमार सिंह जी और कार्यकारिणी सदस्य मे श्री जलज सिंह परिहार, शिवम सिंह, अजीत सिंह, शुभम सिंह, शिवेंद्र सिंह, विकास सिंह, डॉक्टर सौरभ सिंह, कोशलेंद्र सिंह, मयंक सिंह, वैभव सिंह, को चयनित किया गया है।सभी को निर्विरोध निर्वाचित घोषित किया गया। सभी को पद और गोपनीयता का शपथ दिलाई गई।आज के उक्त कार्यक्रम में सभी स्थानों के प्रमुख समाज के लोग सामिल होकर अपने अपने विचार रखे गए।सभी ने अपने अपने क्षेत्रों में रहने वाले क्षत्रिय समाज को सदस्य बनाने और सभी ब्लॉकों के गठन नियमानुसार होने के बाद आगामी समय में जिला कार्यकारणी का गठन किए जाने।पर सहमति बनी। सघन संपर्क करके अपने समाज के उत्थान एवं संस्कार का निर्वहन करने का संकल्प सभी के द्वारा लिया गया है। कार्यक्रम में अन्य कई मुद्दों पर चर्चा हुई।आज हमारे क्षत्रिय समाज के smt इंदिरा सिंह सेंगर,श्री आर पी सिंह सेंगर, जे एस सिंह,मिथलेश्वर सिंह,बेनीबहादुर सिंह, संजीत कुमार सिंह, महेंद्र सिंह गहरवार, जे के सिंह,संजय सिंह, दुर्ग विजय सिंह, दिलीप कुमार सिंह, शिवम् सिंह, कौशलेंद्र सिंह, शिवेंद्र सिंह, अजीत सिंह, शुभम सिंह, रावेंद्र सिंह, जलज सिंह, एस एम सिंह, ज्ञानेंद्र सिंह,शिवशेखर सिंह,महेंद्र पाल सिंह, रमेश सिंह, राजेश सिंह, अशोक सिंह, रोशन सिंह, नवल सिंह, आशीष कुमार सिंह,सूरज भान सिंह गहरवार, सौरभ सिंह, सुरेश सिंह, संजीव सिंह, वीरेन्द्र सिंह राणा, संजय सिंह सेंगर, दीपक सिंह राणा, संतोष सिंह,और अन्य लोग उपस्थित रहे हैं। कार्यक्रम का संचालन श्री संजय सिंह सेंगर, अशीष सिंह के द्वारा किया गया।