रेलवे अंडर ब्रिज में भरा पानी,  गुणवत्ता पर उठने लगे सवाल 

 

भाटापारा । लाखों करोड़ों की लागत से बने रेलवे अंडर ब्रिज में पानी भर जाता है। फल स्वरूप इसकी गुणवत्ता पर सवाल उठने लगा है ।इसके पहले भी जुलाई माह में पानी भर जाने का मामला सामने आया था परंतु उसके बावजूद अभी तक उसमें कोई भी सुधार कार्य नहीं किया गया है फल स्वरुप मंगलवार को हुई बारिश में अंडर ब्रिज में पानी लबालब भर गया । बुधवार को एक डिप्टी कलेक्टर की गाड़ी हुई अंडर ब्रिज से निकलते समय फस गई थी बाद में गाड़ी निकल गई और अंदर बैठे अधिकारी ने कांच चढ़ाकर निकलने में ही भलाई समझी बुधवार को अंडर ब्रिज से पानी इसलिए नहीं निकाला जा सका क्योंकि दिन भर शहर की लाइट बंद थी बताते हैं कि पानी भर जाने पर रेलवे विभाग के द्वारा मोटर लगाकर पानी को निकालने की कार्रवाई की जाती है परंतु बुधवार को ऐसा हो ना सका फल स्वरूप लोग परेशान होते रहे।पानी भर जाने की वजह से आवागमन प्रभावित हो रहा है। आवागमन को सुगम बनाने के लिए लाखों रुपए खर्च करके रेलवे अंडर ब्रिज का निर्माण किया गया था लेकिन इसमें अभी तक रिपेयरिंग नहीं होने की वजह से बारिश में यह अंडर ब्रिज इस वर्ष भी लोगों के लिए दुखदाई हो रहा है और इसके साथ ही अधिकारियों की प्लानिंग क्या थी इससे पोल खुलती नजर आ रही है। मंगलवार को हुई बारिश में ही अंडर ब्रिज में पानी भर गया बाजार फाटक पर बने इस अंडर ब्रिज की गुणवत्ता पर अब सवाल खड़े हो रहे हैं साथ ही इसके ड्राइंग डिजाइन पर भी लोगों ने सवाल उठाया है। अंडर ब्रिज का कार्य आज भी अधूरा पड़ा हुआ है इसका कार्य पूरा नहीं हो पाया है लोगों ने इस कार्य को पूरा करने की मांग की है बता दें कि किसान राइस मिल फाटक के पास एक अन्य अंडर ब्रिज के लोकार्पण के लिए सांसद सुनील सोनी भाटापारा पहुंचे थे तब उन्होंने कार्यक्रम में घोषणा की थी कि बाजार फाटक से रेलवे ब्रिज का बचा हुआ काम शीघ्र पूरा हो जाएगा उस बात को भी आज 6 माह से भी अधिक समय हो रहा है । बाजार फाटक पर बने इस अंडर ब्रिज पर पानी तो भर जाता ही है साथ ही इसमें विशेष बात यह है कि रेलवे लाइन के नीचे जो बॉक्स लगाए गए हैं उससे भी पानी टपक रहा है इस मामले की पूरी जांच किए जाने की जरूरत है पानी टपकने को लेकर लोगों ने इसकी क्वालिटी पर सवाल उठाए हैं। और इसकी पूरी जांच की मांग की है अंडर ब्रिज में पानी भर जाने से लोगों में नाराजगी है जब गाड़ियां ब्रिज के अंदर से गुजरती है तो दो पहिया वाहन व साइकल में चलने वाले अथवा पैदल चलने वाले लोगों के कपड़े खराब हो जाते हैं ऐसे में अब जब बरसात का समय है तो रेलवे के द्वारा निर्मित अंडर ब्रिज की पोल खुल गई है हमेशा यह कहा जाता है कि इसकी रिपेयरिंग कर दी जाएगी और इसके निर्माण में जो लापरवाही बढ़ती गई है उसकी जांच कौन करेगा या अपने आप में लाख टके का सवाल है रेलवे के अधिकारियों के कान में जूं कब रेंगेगी।